कई बार लोग अपनी ही दुनिया में खो जाते हैं। बैठे-बैठे खो जाना भी सामान्य है। लेकिन ये तब मुश्किल में डाल सकता है जब व्यक्ति सड़क पर गाड़ी चला रहा हो। ऐसा क्यों होता है

किसी सड़क दुर्घटना के बाद चालक को ये कहते हुए सुना होगा कि उसे याद ही नहीं है कि गाड़ी कैसे टकरा गई। ये स्थिति सड़क सम्मोहन की है। ज़्यादा देर तक और लगातार ड्राइव करने पर सड़क सम्मोहन हो सकता है। ऐसी स्थिति में चालक की आंखें तो खुली रहती हैं परंतु उसका दिमाग़ कहीं और होता है। इसके कारण उसे सामने से आ रही गाड़ियों का भी आभास नहीं होता और आस-पास होने वाली गतिविधियां भी याद नहीं रहतीं। अगर समय रहते होश वापस नहीं आता है तो दुर्घटना भी हो सकती है।

क्यों होता है सड़क सम्मोहन?

गाड़ी चलाते समय अचानक दिमाग़ में कुछ और बातें चलने लगती हैं।
जब चालक को दूर तक कोई गाड़ी नहीं दिखाई देती तो वह गाड़ी की गति बढ़ा देता है। इससे भी सड़क सम्मोहन हो सकता है।
लगातार पलकों को न झपकाना भी कारण हो सकता है।
कभी-कभी रास्तों के किनारे कोई भी दुकान नहीं दिखने या ख़ाली सड़क पर लगातार गाड़ी चलाने से ऐसा हो सकता है।
बीमार या बहुत थकी हुई हालत में गाड़ी चलाने से यह समस्या हो सकती है।

बचाव ऐसे संभव है

दिमाग़ को सक्रिय रखें

गाड़ी चलाते समय अपने दिमाग़ को सक्रिय रखें। यदि नींद आए तो थोड़ी देर के लिए किसी स्थान पर रुकें और चाय भी पी सकते हैं। इसके साथ ही दिमाग़ को सक्रिय रखने के लिए बीच-बीच में गाने गाते रहें।

बीच में आराम करें

लगातार गाड़ी न चलाएं। अगर सफ़र बहुत लंबा है तो हर 100 कि.मी. ड्राइव करने के बाद कहीं भी गाड़ी रोककर कम से कम एक घंटा आराम करें। इससे शारीरिक और मानसिक थकान दूर होगी। अगर आपको भ्रम का अहसास होता है तो फौरन गाड़ी रोकें और आंखें बंद करके कुछ मिनट आराम करें।

दिमाग़ी कसरत करें

आप सफ़र कर रहे हैं तो सोचें कि उस दौरान कौन-सा शहर, कौन-सा गांव या कौन-सा वह प्रमुख स्थान है जिसे आप याद रखेंगे। इससे दिमाग़ सक्रिय रहेगा और उसकी कसरत भी होगी।

रास्ता बदल लें

अगर रोज़ लंबा सफ़र तय करते हैं और एक ही रास्ते से जाते हैं तो सड़क बदलकर देखें। दरअसल एक ही सड़क से आने-जाने पर हमें उसकी आदत हो जाती है। लेकिन अगर नए-नए रास्तों का इस्तेमाल करेंगे तो गाड़ी ध्यान से चलाएंगे।

स्वस्थ हों तभी ड्राइव करें

गाड़ी चलाने से पहले यह सुनिश्चित करें कि आप मानसिक और शारीरिक रूप से स्वस्थ हैं। यदि पूरी तरह से स्वस्थ होंगे तो किसी तरह की दिक़्क़त होने की संभावना कम होगी।

संगीत बदलकर सुनें

कार में गानों की एक ही प्ले लिस्ट सुनते हैं तो हमारे कानों को इसकी आदत हो जाती है। कई बार गाड़ी चलाते हुए इन्हें सुनते तो हैं लेकिन पूरी तरह से ध्यान नहीं होता। बेहतर होगा कि हर बार नए गाने लिस्ट में डालें, जिससे आप ध्यान से सुनेंगे।

रियर व्यू मिरर देखें

रियर व्यू मिरर केवल पीछे के दृश्यों पर नज़र रखने में ही मदद नहीं करता बल्कि दिमाग़ को सक्रिय भी रखता है। गाड़ी चलाते वक़्त रियर व्यू मिरर में बार-बार देखें। जब दिमाग़ और आंखें लगातार काम करेंगी तो सड़क सम्मोहन होने का जोखिम भी नहीं होगा।

रात में ड्राइव न करें

शरीर की घड़ी के अनुसार चलें। यानी कि जब सोने का वक़्त हो तो उस समय ड्राइव न करें। जैसे कि रात का समय सोने के लिए है और शरीर को उसकी आदत भी है। इस समय ड्राइव करते वक़्त सड़क सम्मोहन होने की आशंका ज़्यादा होती है।
- Legend News

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