रिपोर्ट : LegendNews
अमेरिका ने ईरान के तीन परमाणु ठिकानों पर किए हमले, खास थे तीनों न्यूक्लियर प्लांट्स
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने घोषणा की है कि अमेरिका ने ईरान के तीन परमाणु ठिकानों फ़ोर्दो, नतांज़ और इस्फ़हान पर अपने हमले पूरे कर लिए हैं. इन हमलों को ईरान ने यूएन चार्टर का उल्लंघन बताया है.
रविवार की सुबह ट्रंप ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म ट्रुथ सोशल पर लिखा, "हमने फ़ोर्दो, नतांज़ और इस्फ़हान समेत ईरान के तीन परमाणु ठिकानों पर सफलतापूर्वक हमलों को अंजाम दिया है. सभी विमान अब ईरान के वायु क्षेत्र से बाहर हैं."
ट्रंप ने आगे लिखा कि फ़ोर्दो पर 'सारे बम' गिराए गए हैं और सभी विमान सुरक्षित रूप से अमेरिका वापस लौट रहे हैं.
साथ ही ट्रंप ने लिखा कि 'हमारे महान अमेरिकी योद्धाओं को बधाई. दुनिया में कोई और सेना नहीं है जो ये कर सकती थी. अब शांति का समय है.'
ईरान के विदेश मंत्री अब्बास अराग़ची ने अमेरिका पर यूएन चार्टर का उल्लंघन करने का आरोप लगाया है.
उन्होंने सोशल मीडिया एक्स पर पोस्ट किया, संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के स्थायी सदस्य अमेरिका ने ईरान के शांतिपूर्ण परमाणु प्रतिष्ठानों पर हमला करके संयुक्त राष्ट्र चार्टर, अंतर्राष्ट्रीय क़ानून और एनपीटी का गंभीर उल्लंघन किया है.
आज सुबह की घटनाएं क्रूर हैं और इनके दीर्घकालिक परिणाम होंगे. संयुक्त राष्ट्र के हर सदस्य को इस बेहद ख़तरनाक, अराजक और आपराधिक व्यवहार से चिंतित होना चाहिए.
इसके साथ ही ईरानी विदेश मंत्री ने लिखा, संयुक्त राष्ट्र चार्टर और आत्मरक्षा में वैध प्रतिक्रिया की अनुमति देने के इसके प्रावधानों के अनुसार ईरान के पास अपनी संप्रभुता, हित और लोगों की रक्षा के लिए सभी विकल्प हैं.
ट्रंप का राष्ट्र के नाम संबोधन
डोनाल्ड ट्रंप ने इस सैन्य अभियान के बाद राष्ट्र के नाम संबोधन दिया है जिसमें इस हमले की पूरी जानकारी दी है.
उन्होंने फ़ोर्दो, नतांज़ और इस्फ़हान पर हमलों की पुष्टि करते हुए कहा है कि 'हर कोई इन नामों को तब से सुन रहा है तब से वे इन भयानक विनाशकारी उपक्रम को बना रहे हैं. आज हम दुनिया को बता सकते हैं कि हमले शानदार और सफल रहे. उन्होंने इस दौरान कहा कि ईरान को 'अब शांति स्थापित करनी होगी. अगर वो ये नहीं करता है तो भविष्य में होने वाले हमले बेहद बड़े और आसान होंगे.
डोनाल्ड ट्रंप ने इन हमलों के लिए इसराइली प्रधानमंत्री बिन्यामिन नेतन्याहू और इसराइली सेना का शुक्रिया अदा किया.
इसके साथ ही ट्रंप ने कहा कि अभी बहुत से ठिकानों को निशाना बनाया जाना बाक़ी है.
अमेरिका के हमलों के बाद इसराइल के प्रधानमंत्री बिन्यामिन नेतन्याहू ने एक बयान दिया है.
उन्होंने कहा, राष्ट्रपति ट्रंप और मैं अक्सर कहते हैं कि 'ताक़त के ज़रिए शांति.' पहले ताकत आती है और फिर शांति आती है.
नेतन्याहू ने कहा, आज रात राष्ट्रपति ट्रंप और अमेरिका ने बहुत ताक़त से कार्रवाई की है.
कैसे किया गया हमला?
रॉयटर्स समाचार एजेंसी के मुताबिक़, इसराइल के सरकारी प्रसारणकर्ता केन से एक इसराइली अधिकारी ने कहा है कि ईरान के परमाणु ठिकानों पर हमले में इसराइल ने अमेरिका के साथ 'पूरा तालमेल' बनाए रखा.
रॉयटर्स समाचार एजेंसी के मुताबिक़ अमेरिकी अधिकारी ने कहा है कि ईरान पर अमेरिकी हमलों में बी-2 बॉम्बर्स शामिल हैं.
इससे पहले ऐसी रिपोर्ट्स सामने आई थीं कि अमेरिका ने यूएस बी-2 स्टेल्थ बॉम्बर्स को कथित तौर पर गुआम द्वीप पर भेजा है. इसके बाद ऐसा माना जा रहा था कि अमेरिका ईरान पर हमले में इसे इस्तेमाल कर सकता है.
ईरान की ओर से क्या कहा गया?
ईरान की परमाणु एजेंसी एईओआई ने तीन ईरानी परमाणु ठिकानों के अमेरिका के 'बर्बर हमलों' की निंदा की है.
संगठन ने इसके साथ ही अंतर्राष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (आईएईए) की 'बेरुख़ी और यहां तक कि इसमें साझेदारी' को लेकर उसकी निंदा की है.
एईओआई ने वैश्विक समुदाय से अपील की है कि वो 'हमलों की निंदा करे और ईरान के उचित रुख़ का समर्थन करे.'
वहीं ईरान के सरकारी टीवी चैनल के डिप्टी पॉलिटिकल डायरेक्टर हसन अबेदिनी ने सरकारी टीवी चैनल पर ये दावा किया है कि ईरान ने परमाणु ठिकानों को 'पहले ही ख़ाली करा लिया था.'
उन्होंने ये भी कहा कि अगर ट्रंप जो कुछ कह रहे हैं वो सच भी हो तो ईरान को 'किसी बड़े धमाके से कोई नुक़सान नहीं हुआ क्योंकि पदार्थों को पहले निकाल लिया गया था.'
तस्नीम समाचार एजेंसी के मुताबिक़ क़ौम प्रांत के संकट प्रबंधन के प्रवक्ता मोर्तज़ा हैदरी ने कहा है कि 'फ़ोर्दो परमाणु केंद्र के इलाक़े का एक हिस्सा हवाई हमले की चपेट में आया है.'
इस्फ़हान के सिक्योरिटी डिप्टी गवर्नर अकबर सलेही ने कहा है कि, नतांज़ और इस्फ़हान में कई धमाकों की आवाज़ें सुनी गई हैं. हमने इस्फ़हान और नतांज़ के परमाणु ठिकानों के नज़दीक हमलों को देखा है."
ट्रंप ने जिन तीन ठिकानों पर हमले का दावा किया है उसकी ईरानी अधिकारियों ने पुष्टि कर दी है.
फोर्डो न्यूक्लियर प्लांट
13 जून की सुबह से ही इजरायली सेना ईरान के कई परमाणु ठिकानों पर हमले कर रही है लेकिन ईरान के सबसे सुरक्षित न्यूक्लियर प्लांट फोर्डो को इजरायली सेना छू भी नहीं पाई थी.
ईरान ने फोर्डो प्लांट को मानों एक अभेद किला में तब्दील कर रखा था। इस प्लांट को तबाह करना का मतलब था कि किसी पहाड़ को हिला कर रख देना, जो अमेरिका ने कर दिखाया है। दरअसल, ईरान ने इस संयंत्र को एक पहाड़ के नीचे और जमीन में करीब 300 फीट गहराई में बनाया है. खास बात ये थी कि इस संयंत्र को खास तौर पर डिजाइन ही हवाई हमले से बचने के लिए किया गया था.
माना जाता है कि साल 2006 में ईरान ने इस न्यूक्लिर प्लांट को बनाने की शुरुआत की थी. इस न्यूक्लियर प्लांट का उद्देश्य परमाणु हथियार विकसित करना था. ईरान ने इस प्लांट को वर्षों तक दुनिया से छिपा कर रखा था. हालांकि, साल 2009 में पश्चिमी खुफिया एजेंसियों ने इस संयंत्र का पता लगा लिया था.
ईरान को डर था कि अमेरिका या इजरायल इस जगह को निशाना बना सकता है इसलिए ईरान ने प्लांट के करीब रूसी एस-300 एअर डिफेंस सिस्टम इंस्टॉल कर रखा है.
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार इस संयंत्र में अत्यधिक संवर्धित यूरेनियम (U-235) का उत्पादन किया जा रहा था, जो दो परमाणु बम बनाने के लिए काफी अहम थे.
नतांज न्यूक्लियर प्लांट
अब बात की जाए नतांज न्यूक्लियर प्लांट की, जहां ईरान यूरेनियम एनरिचमेंट कर रहा था. बता दें कि यूरेनियम को इनरिच करने के बाद ही इससे परमाणु बम बनाया जाता है. नातांज में हजारों एडवांस्ड सेंट्रीफ्यूज हैं, जिनमें से कुछ 60 फीसदी तक न्यूक्लियर को एनरिच कर सकते हैं.
न्यूक्लियर थ्रेट इनिशिएटिव (एनटीआई) के अनुसार नतांज में 6 जमीन के ऊपर की इमारतें और तीन अंडरग्राउंड संरचनाएं हैं जिनमें से दो में 50,000 सेंट्रीफ्यूज रखे गए हों.
एस्फाहान न्यूक्लियर प्लांट
एस्फाहान न्यूक्लियर प्लांट में तेजी से परमाणु हथियार बनाने का काम चल रहा था. इस संयंत्र पर येलोकेक को यूरेनियम हेक्साफ्लोराइड में बदला जा रहा था. इस संयंत्र पर रिएक्टर फ्यूल को निर्मित की जा रही थी. वहीं परमाणु हथियारों के लिए यूरेनियम धातु बनाया जा रहा था.
ईरान की राजधानी तेहरान से करीब 350 किलोमीटर (215 मील) दक्षिण-पूर्व में स्थित इस्फहान सिटी में सैकड़ों परमाणु वैज्ञानिक काम कर रहे थे. इसी जगह में परमाणु कार्यक्रम से जुड़ तीन चीनी रिसर्च रिएक्टर्स और लैब्स भी हैं.
-Legend News
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