लखनऊ: मुख्तार अंसारी 12 अप्रैल को विशेष अदालत में तलब
लखनऊ । यूपी की बांदा जेल पहुंचने के कुछ घंटे बाद ही मुख्तार अंसारी को लखनऊ की विशेष अदालत ने उसे 12 अप्रैल को एक 21 साल पुराने मामले में पेश होने का फरमान सुना दिया है।
बसपा विधायक और माफिया मुख्तार अंसारी को बुधवार सुबह यूपी के बांदा की जेल में शिफ्ट कर दिया गया गया है। इसी के साथ ही मुख्तार के गुनाहों का हिसाब भी शुरू हो गया है। लखनऊ MP/MLA की विशेष अदालत ने 21 साल पुराने एक मामले में उसे 12 अप्रैल को पेश होने (Lucknow special court summons MLA Mukhtar Ansari) का आदेश सुना दिया है। उधर सुप्रीम कोर्ट ने मुख्तार अंसारी की पत्नी अफशा अंसारी की याचिका पर शुक्रवार को सुनवाई करने की तारीख दी है। अफशा ने पति की सुरक्षा के लिए सुप्रीम कोर्ट में गुहार लगाई है।
मुख्तार अंसारी को कारापाल व उपकारापाल पर हमला करने के 21 साल पुराने एक मामले में 12 अप्रैल को व्यक्तिगत रुप से कोर्ट में तलब लिया गया है। इस मामले में युसुफ चिश्ती, आलम, कल्लू पंडित और लालजी यादव पर भी आरोप तय किए जाने हैं। 21 साल पहले मुख्तार अंसारी और उसके साथियों ने जेल में पथराव और जान से मरने की धमकी दी थी और कारापाल, उपकारापाल पर हमला भी किया था। करीब 26 महीने पंजाब की रोपड़ जेल में रहने के बाद मुख़्तार आखिरकार यूपी वापस लौटा है और उस पर कार्रवाई शुरू हो गई है। इससे पहले भी विशेष जज पीके राय ने पिछली कई तारीखों पर मुख्तार अंसारी को पेश कराने के निर्देश दिए थे लेकिन पंजाब में होने के चलते वह नहीं आया था।
पत्नी की याचिका पर शुक्रवार को सुनवाई
उधर उच्चतम न्यायालय बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी की पत्नी की उस याचिका पर शुक्रवार को सुनवाई करेगा जिसमें उन्होंने उत्तर प्रदेश सरकार को राज्य में उसके पति की ‘सुरक्षा’ सुनिश्चित करने और उसके खिलाफ निष्पक्ष रूप से मुकदमा चलाने का निर्देश देने का अनुरोध किया है।
न्यायमूर्ति अशोक भूषण और न्यायमूर्ति आर सुभाष रेड्डी की पीठ अफशां अंसारी की याचिका पर नौ अप्रैल को सुनवाई करेगी. याचिका में आरोप लगाया गया है कि उत्तर प्रदेश में अंसारी की जान को गंभीर खतरा है. उत्तर प्रदेश पुलिस को उच्चतम न्यायालय के निर्देश पर मंगलवार को ही पंजाब पुलिस से अंसारी की हिरासत मिली है। अंसारी पर उत्तर प्रदेश में कई जघन्य आपराधिक वारदात को अंसाम देने का आरोप है।
उच्चतम न्यायालय में दायर याचिका में आरोप लगाया गया है कि उत्तर प्रदेश में अंसारी की जान को ‘गंभीर खतरा’ है और अगर न्यायालय उसकी सुरक्षा के लिए कदम उठाने का निर्देश नहीं देगा तो अंसारी की हत्या होने की ‘प्रबल आशंका’ है। याचिका के अनुसार, अंसारी पर ऐसे राजनीतिक शत्रुओं द्वारा कई बार हमले का प्रयास किया जा चुका है जो सत्ताधारी राजनीतिक दलों से जुड़े हुए हैं। अंसारी की पत्नी अफशां अंसारी की ओर से सोमवार को दायर याचिका में अनुरोध किया गया है कि उनके पति को एक जेल से दूसरे जेल और जेल से अदालत ले जाने के दौरान वीडियोग्राफी कराई जाए और यह सीआरपीएफ जैसे केंद्रीय बलों की निगरानी में किया जाए।
– एजेंसी